टिहरी में निर्विरोध रूप से जिला पंचायत अध्यक्ष चुनी गई इशिता सजवाण, बीजेपी की इस चाल से सोना सजवाण, कांग्रेस का हो गया मोये मोये

रैबार डेस्क: राजनीति में पल पल शह और मात का खेल किस कदर चलता है इसका ताजा उदाहरण टिहरी में देखने को मिला है। यहां एक दिन पहले जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए घोषित भाजपा की आधिकारिक प्रत्याशी सोना सजवाण का वर्चस्व एक झटके में खत्म हो गया। दरअसल समीकरणों को भांपते हुए भाजपा ने जिला पंच्यात अध्यक्ष के प्रत्याशी के रूप में पहले सोना सजवाण का नाम काटा और और निर्दलीय युवा इशिता सजवाण को प्रत्याशी बनाया। राजनीति का खेल देखिए कि युवा इशिता टिहरी जिला पंचायत अध्यक्ष पद पर निर्विरोध अध्यक्ष चुन ली गयी।
ऐसे हुआ खेला
दरअसल सोमवार तक टिहरी जिला पंचायत अध्यक्ष पद पर सोना सजवाण की भाजपा की प्रत्याशी थी। सोना सजवाण कल नामांकन भी करा चुकी थी। लेकिन 45 जिला पंचायत सदस्यों वाली काउंसिल में सोना सजवाण के लिए इस बार पार पाना मुश्किल साबित हो रहा था। जिला पंचायत में कांग्रेस समर्थित सदस्यों की संख्या 14 थी जबकि भाजपा प्रत्याशी सोना सजवाण के पक्ष में 13, और निर्दलीय सदस्यों की संख्या18 है। सोना सजवाण अध्यक्ष पद के लिए स्वाभाविक दावेदार थी, लेकिन मौके को भांपते हुए युवा नेत्री इशिता सजवाण ने भी निर्दलीयों के सहारे अध्यक्ष पद के लिए नामांकन कराया था। मूल रूप से इशिता भाजपा बैकग्राउंड से आती हैं, ऐसे में कुछ भाजपा समर्थित जिला पंचायत सदस्य भी उनके पक्ष में वोटिंग कर सकते थे। निवर्तमान अध्यक्ष सोना सजवाण को हराने और बीजेपी को जीत से दूर रखने के लिए कांग्रेस समर्थित सदस्यों ने भी इशिता सजवाण का समर्थन किया था। ऐसे में चुनाव होते तो इशिता सजवाण का जिला पंचायत अध्यक्ष चुना जाना तय था।
लेकिन मंगलवार को सियासत ने अचानक करवट बदली। सब कुछ अपने पक्ष में समेटने की नीति पर चल रही भाजपा ने ऐन वक्त पर जिला पंचायत अध्यक्ष पद से सोना सजवाण की दावेदारी को कैंसिल कर दिया और इशिता को ही अपना प्रत्याशी घोषित कर दिया। सोना सजवाण की सारी गणित बिगड़ गई और इशिता निर्विरोध रूप से जिला पंचायत अध्यक्ष चुन ली गई। देखा जाए तो कांग्रेस ने भी ये नहीं सोचा होगा कि भाजपा इशिता पर दांव खेलकर ही पासा पलट देगी। इस तरह सोना सजवाण और कांग्रेस के साथ मोए मोए हो गया।
सोना सजवाण का वर्चस्व खत्म
टिहरी जिला पंचायत में रघुवीर सिंह सजवाण और उनकी पत्नी सोना सजवाण दौर आखिरकार खत्म हो गया। कभी जिला पंचायत के ‘बेताज बादशाह’ कहलाने वाले रघुवीर सजवाण और सोना सजवाण को बीजेपी की एक चाल से बडी मात मिल गई।
दरअसल सोना सजवाण कुल 4 बार टिहरी से जिला पंचायत सदस्य रह चुकी हैं और पिछले दो कार्यकाल से जिला पंचायत अध्यक्ष भी रही हैं। उनके पति रघुवीर सजवाण भी जिला पंचायत सदस्य रहे हैं। इस बार सोना सजवाण अखोड़ी सीट से निर्विरोध जिला पंचायत सदस्य चुनी गई थी। लेकिन त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में अखोड़ी सीट पर एक साथ 6 प्रत्याशियों के पर्चे खारिज करवाए गए थे। स्थानीय लोगों का आरोप है कि सोना सजवाण की राह आसान बनाने के लिए ये खेल रचा गया था। लेकिन इस बार सारी रणनीतियां धरी की धरी रह गईं। समीकरण बिगड़त देख भाजपा ने भी उनसे दूरी बना ली और उनीक उम्मीदवारी तक खारिज कर दी।
रघुवीर सजवाण और सोना सजवाण की टिहरी की पॉलिटिक्स में गहरी पकड़ रही है। तमाम मंत्रियों से लेकर संगठन के लोगों तक अच्छे संपर्क रहे हैं। सोना सजवाण दिग्गज नेता मातवर सिंह कंडारी के परिवार से आती हैं लिहाजा उनके राजनीतिक लिंक भी मजबूत रहे हैं। लेकिनइस बार सारा खेल बिगड़ा गया।
जानिए कौन हैं नई सनसनी इशिता सजवाण
इशिता सजवाण कोट वार्ड से जिला पंचायत सदस्य निर्वाचित हुई हैं। इशिता करीब 4500 वोटो से चुनाव जीती हैं। उनको 5648 वोट मिले जबकि उनकी प्रतिद्वदी को महज 1470 वोट ही मिल सके थे।
इशिता समाजसेवी व उद्योगपति वीरेंद्र सिंह सजवाण की भतीजी हैं। वे भाजपा से जुड़ी हैं, लिहाजा संगठन की ताकत भी उनके पीछे रही है। सोना सजवाण की तरह इशिता भी धनबल में कम नहीं हैं।
वह एमबीए के साथ-साथ काउंसलिंग साइकोलॉजी में भी पोस्ट ग्रेजुएट है। सामाजिक क्षेत्र में बीते कई समय से कार्यरत है।