2024-05-03

बागेश्वर में सीएम धामी ने ऐन मौके पर पलटी बाजी, जीत ने बढ़ाई धामी की धाक

रैबार डेस्क: बागेश्वर उपचुनाव के नतीजों में मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी विरोधियों पर इक्कीस साबित हुए हैं। चुनाव के अंतिम दो दिनों में जिस तरह का धुंआधार प्रचार धामी की अगवाई में हुआ उसने चुनाव की तस्वीर बदलकर रख दी। वहीं, जनता ने उपचुनावों के जरिये स्पष्ट संदेश भी दे दिया है कि मुख्यमंत्री धामी के नेतृत्व पर उन्हें पूर्ण भरोसा है और जिन विकासपरक नीतियों के साथ वे आगे बढ़ रहे हैं, उन्हें जनता हाथों हाथ ले रही है।
बागेश्वर विधानसभा सीट से धामी मंत्रिमंडल के सदस्य रहे चंदन राम दास की बीमारी से हुई मृत्यु के बाद यह सीट रिक्त हो गयी थी। भाजपा ने इस सीट पर उनकी पत्नी पार्वती दास को टिकट दिया था। बागेश्वर चुनाव को लेकर शुरू से ही कांग्रेस की ओर से तमाम बड़े दावे और प्रपंच किये गए लेकिन जनता के दिलोदिमाग पर छाई भाजपा और धामी के तिलिस्म को कांग्रेस नहीं तोड़ पाई।
बागेश्वर सीट पर आई इस जीत के राजनीति के जानकार तमाम मायने बता रहे हैं। जानकारों का मानना है कि जिस तरह से चुनाव के अंतिम दो दिनों तक मुख्यमंत्री धामी ने गरुड़, बागेश्वर आदि स्थानों पर रोड शो किये और जिस तरह वहां महिलाओं की भीड़ उमड़ी, उसने न केवल धामी की लोकप्रियता को इंगित किया बल्कि चुनावी नतीजों पर भी मुहर लगा दी थी। आज आयी इस जीत ने धामी सरकार द्वारा राज्य में चलाये जा रहे विभिन्न विकासपरक योजनाओं और विकासवादी एजेंडे पर भी मुहर लगाई है। दूसरा इस चुनाव ने वर्ष 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव की पटकथा भी अभी से लिखनी शुरू कर दी है। यह जीत जनता का भाजपा के प्रति राज्य में रुझान भी दर्शा रही है।

भाजपा प्रत्याशी की इस जीत ने उन तमाम लोगों के मुँह भी बंद करने का काम किया है जो गाहे बगाहे नेतृत्व परिवर्तन और न जाने कैसे कैसे हवाई दावे गढ़ने लगते हैं। बागेश्वर सीट पर हुई इस जीत का संदेश आज दूर तक गया है। दूसरी ओर, इस जीत ने आलाकमान को भी पूरी तरह से आश्वस्त कर दिया है कि 2024 के रण में धामी से बेहतर और कोई नेतृत्वकर्ता नहीं हो सकता।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You may have missed