फिल्मी स्टाइल में धोखाधड़ी करने वाले गैंग का पर्दाफाश, स्पेशल 26 की तर्ज पर देते थे सरकारी नौकरियों के फर्जी नियुक्ति पत्र
रैबार डेस्क: आपने फिल्म स्पेशल-26 तो देखी होगी। फिल्म में दिखाया गया था किस तरह फेक सीबीआई और अन्य जांच एजेंसियों का स्वांग रचा जाता था और लूट को अंजाम दिया जाता था। किसी को शक न हो इसलिए हुलिया और हालात भी एकदम सरकारी अफसरों जैसा बनाया जाता था। ठीक इसी तर्ज पर उत्तराखंड के लक्सर में भी नौकरियों के नाम पर युवाओं से लाखों की ठगी की जाती रही। हरिद्वार पुलिस ने ऐसे गैंग का पर्दाफाश किया है जो UKSSSC और अन्य विभागों के फर्जी नियुक्ति पत्र देकर युवाओं से लाखों रुपए ऐंठता था। पुलिस ने 4 आरोपियों को गिरफ्तार भी किया है। police arrests 4 person for frauding to youths with fake job letters in govt departments
एसएसपी हरिद्वार, अजय सिंह ने बताया लक्सर क्षेत्र में एक गैंग सक्रिय था जो कई बेरोजगारों को विभिन्न विभागों में सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर लाखों रुपए की रकम ऐंठकर शहर के नामी होटलों में फर्जी तरीके से इंटरव्यू करवाता था। और पैसे लेकर युवाओं को लोक सेवा आयोग और UKSSSC के फर्जी नियुक्ति पत्र जारी करता था। एसएसपी ने बताया कि युवाओँ को गुमराह करने के लिए गैंग ये कहता था कि सरकारी विभागों में 10 फीसदी नौकरियां विभागीय कोटे के लिए आरक्षित होती हैं। इनके लिए कोई विज्ञापन नही निकलता और ये पद अंदरखाने भरे जाते हैं। बेरोजगार युवा गैंग के झांसे में आते रहे और इंटरव्यू के बाद युवाओं से 5 से 10 लाख तक की रकम ऐंठी जाती थी।
गैंग पर कोई शक न करे, इसके लिए बकायदा बड़े बड़े नामी होटलों में बेरोजगारों को इंटरव्यू कराया जाता था। होटल बुलाकर उनसे लाखों रुपयों की डिमांड की जाती थी। रकम मिलने पर लोक सेवा आयोग उत्तराखण्ड तथा UKSSSC (अधीनस्थ सेवा चयन आयोग) के तहत अन्य विभागों से फर्जी नियुक्ति पत्र युवाओं को दिए जाते थे। इनके झांसे में आए युवा जब सरकारी विभागों में जाते तो उनसे विभाग ये कहते थे कि ऐसी कोई विज्ञप्ति निकली ही नहीं है। इस पर गैंग युवाओँ से ये कहता था कि 10% विभागीय कोटा की कोई परीक्षा नहीं होती, ये पद विभाग द्वारा अलग से भरे जाते हैं। जिस कारण बेरोजगारों में भ्रम की स्थिति बनी रहती थी और लोग आसानी से इनकी धोखाधड़ी का शिकार हो जाते थे। अपनी धौंस जमाने और शख से बचने के लिए गिरोह ने अफने साथ दो गार्ड रखे थे जो आर्मी की वर्दी पहनकर गिरोह के साथ रहते थे।
एसएसपी ने बताया कि उक्त गिरोह के खिलाफ हरिद्वार के विभिन्न थानों (रुड़की, बहादराबाद, मंगलौर, कलियर आदि) में मामला संज्ञान में आते ही धोखाधड़ी की गंभीर धाराओं में मुकदमे दर्ज किए गए हैं। सटीक सूचना के आधार पर एक महिला सहित कुल 4 अभियुक्तों को 90 हजार की नकदी, भारी मात्रा में अभ्यर्थियों के फर्जी नियुक्ति प्रमाण पत्र, फर्जी शैक्षिक अंकतालिकायें, इलैक्ट्रोनिक सामान, नकदी, विभिन्न विभागों के पदनाम की मोहरों, घटना में इस्तेमाल किए जाने वाले कई मोबाइल फोन, 1 दर्जन से अधिक पासबुक, चेक बुक, रौब गालिब करने के लिए गार्ड द्वारा पहनी गई फर्जी आर्मी एवं पुलिस की वर्दी इत्यादि के साथ गिरफ्तार कर लिया गया है। गिरोह के अन्य सदस्यों की भी तलाश जारी है।
गिरफ्तार आरोपियों में विजय नौटियाल पुत्र मीर सिंह निवासी टिक्कमपुर लक्सर, रेणू पुत्री मीर सिंह निवासी उपरोक्त, नितिन पुत्र चमन निवासी उपरोक्त, सिद्धार्थ पुत्र नवबहार निवासी धारीवाला, पथरी शामिल है। जबकि फरार आरोपियों में अजय नौटियाल पुत्र मीर सिंह निवासी टिक्कमपुर कोतवाली लक्सर है।