उत्तराखंड के सपूत वाइस एडमिरल नैथानी को मिली नेवी के जहाजों, पनडुब्बियों की बड़ी जिम्मेदारी
रैबार डेस्क: देश के महत्वपूर्ण पदों, विशेषकर रक्षा से संबंधित बड़े पदों पर उत्तराखंडियों का जलवा बरकरार है। पहाड़ के एक और सपूत संदीप नैथानी (Vice Admiral Sandeep Naithani) को भारतीय नौसेना (Indian Navy) में महत्वपूर्ण जिम्मेदारी मिली है। मंगलवार को वाइस एडमिरल संदीप नैथानी ने नौसेना में युद्धपोत उत्पादन और अधिग्रहण के कंट्रोलर का कार्यभार संभाला। वाइस एडमिरल नैथानी ने नौसेना के प्रमुख विद्युत प्रशिक्षण प्रतिष्ठान आईएनएस वलसुरा की भी कमान संभाली।
मूलतः पौड़ी गढ़वाल के रहने वाले संदीप नैथानी ने मंगलवार को वाइस एडमिरल एसआर सरमा से कार्यभार ग्रहण किया है। वाइस एडमिरल नैथानी राष्ट्रीय रक्षा अकादमी, खड़गवासला से स्नातक हैं। वे 1 जनवरी 1985 को भारतीय नौसेना में कमीशन हुए थे। उनकी पहली नियुक्ति नौसेना की विद्युत शाखा में हुई थी। वह नौसेना के सबसे वरिष्ठ तकनीकी अधिकारी के रूप में जहाजों, पनडुब्बियों के लिए सभी प्रकार के उपकरणों और हथियार प्रणालियों के चयन, प्रेरण और रखरखाव से संबंधित सभी पहलुओं के प्रभारी होंगे।
नैथानी आईआईटी, दिल्ली से रडार एंड कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग में पोस्ट ग्रेजुएट और डिफेंस सर्विसेज स्टाफ कॉलेज (डीएसएससी) और नेशनल डिफेंस कॉलेज (एनडीसी) के पूर्व छात्र हैं। साढ़े तीन दशकों के अपने शानदार नौसैनिक करियर के दौरान वह विभिन्न चुनौतीपूर्ण पदों पर रहे हैं।
वाइस एडमिरल संदीप नैथानी ने विमान वाहक पोत ’विराट’ पर विभिन्न क्षमताओं के साथ सेवा दी है। वह मुंबई और विशाखापत्तनम के नौसेना डॉकयार्ड में, नौसेना मुख्यालय के स्टाफ, कार्मिक और मैटरियल शाखाओं में महत्वपूर्ण पदों पर रहे हैं। इसके साथ ही एडमिरल ने नौसेना के प्रमुख विद्युत प्रशिक्षण प्रतिष्ठान, आईएनएस वलसुरा की भी कमान संभाली है। एक फ्लैग ऑफिसर के रूप में एडमिरल ने नौसेना मुख्यालय में मेटरियल (आधुनिकीकरण) के सहायक प्रमुख के रूप में कार्य किया है। इसके अलावा वह मुख्यालय डब्ल्यूएनसी में चीफ स्टाफ ऑफिसर (टेक्नीकल), नौसेना डॉकयार्ड मुंबई के एडमिरल अधीक्षक और मुंबई में महानिदेशक नौसेना परियोजना, मुख्यालय एटीवीपी में कार्यक्रम निदेशक भी रहे हैं। इससे पहले भी उत्तराखंड मूल के कई लोगों को रक्षा प्रतिष्ठानों में महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां मिल चुकी हैं।