इस्तीफे पर नहीं बोले CM तीरथ, उपलब्धियां गिनाई, कल सुबह देंगे इस्तीफा!
रैबार डेस्क: उत्तराखंड के सीएम तीरथ सिंह रावत का इस्तीफा अब कल सुबह हो सकता है। संवैधानिक संकट का हवाला देते हुए चार महीने से कम समय मे तीरथ को पद छोड़ना पड़ रहा है। सीएम ने सचिवालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर अपने कार्यकाल की उपलब्धियां गिनाई। बीजेपी ने कल 3 बजे विधायक दल की बैठक बुलाई है जिसमें नया सीएम चुना जाएगा।
दिल्ली में राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात के बाद देहरादून लौटे तीरथ सिंह रावत ने सचिवालय गए और वहां प्रेस कॉन्फ्रेंस की। इस दौरान तीरथ सिंह रावत ने कोविड के हालात का जिक्र करते हुए कहा की कोविड से कारोबार पर प्रतिकूल असर पड़ा। लेकिन उनकी सरकार ने कोरोना से प्रभावित हर क्षेत्र के लोगों को हरसंभव मदद पहुंचाई। कुल मिलाकर 2000 करोड़ की मदद पहुंचाई। सरकार ने बड़े पैमाने पर नियुक्तियों को खोला है। अगले 6 महीने में विभिन्न विभागों में 20 हजार पदों पर नियुक्तियां की जानी थी।
इन हालातों से साफ है कि सीएम तीरथ ने इस्तीफे के मन बना लिया है। वो कल सुबह राज्यपाल से मिलकर इस्तीफा सौंप सकते हैं।
दरअसल तीरथ सिंह रावत के सामने ये संवैधानिक संकट चुनाव को लेकर खड़ा हुआ है। तीरथ रावत गढ़वाल लोकसभा से सांसद हैं। उन्होंने 10 मार्च को सीएम पद की शपथ ली थी। इस लिहाज से उन्हें 6 महीने के भीतर यानी सितंबर से पहले विधायक चुना जाना जरूरी था। सामान्य स्थितियों में ये सम्भव है। लेकिन जन जन प्रतिनिधित्व एक्ट की धारा 151 के तहत अगर चुनाव में एक साल से कम समय बचा हो तो चुनाव आयोग उपचुनाव कराने के लिए बाध्य नहीं है। कोविड संकट के कारण चुनाव आयोग उपचुनाव के मूड में नहीं है। ऐसे में तीरथ सिंह रावत को विधायक चुने जाने का मौका ही नहीं मिला। यही संवैधानिक संकट तीरथ के गले की फांस बन गया।
बहरहाल 2017 में प्रचंड बहुमत से सत्ता में आई बीजेपी को दो बार नेतृत्व परिवर्तन करना पड़ा है। इससे राज्य का विकास प्रभावित हुआ है। आपको बता दें कि इसी साल 9 मार्च को त्रिवेंद्र सिंह रावत को भी पद छोड़ना पड़ा था।